"गांधी के विदेशी यात्रा का जिक्र करते हुए कहना चाहता हूं कि विदेश में अहिंसात्मक आंदोलन ने जैसे विदेशों में प्रभाव डाला उससे इंकार नहीं किया जा सकता है. उस वक़्त आंदोलन की जरूरत थी. लेकिन आज अर्थव्यवस्था मजबूत करना समय की मांग है जो कि प्रधानमंत्री अपनी जिम्मेदारी से निभा रहे हैं. गूगल सर्च तो कहता है कि 2016-17 वित्तीय वर्ष में 60.8 डाॅलर अरब तक एफडीआई पहुंच गया है जो कि पिछले साल से 5अरब डॉलर अधिक है. तीन साल के कार्यकाल की बात करें तो बढ़ोतरी की ओर है.".....
Monday 2 October 2017
गांधी, मोदी और विदेश यात्रा-
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